5 कारण क्यों रीनियर डी रिडर मिडलवेट MMA डिविजन पर राज कर रहे हैं
रीनियर डी रिडर ने 2019 में जब से ग्लोबल स्टेज पर कदम रखा है, तब से उन्हें कोई भी नहीं रोक पाया है।
“द डच नाइट” ने सर्कल के अंदर छह जीत हासिल की हैं और अब उनकी नजर सातवीं जीत पर होगी, जब उनका सामना शुक्रवार, 22 जुलाई को ONE 159 के मेन इवेंट में ONE मिडलवेट वर्ल्ड टाइटल के लिए विटाली बिगडैश से होगा।
Combat Brothers टीम के सुपरस्टार ONE लाइट हेवीवेट खिताब पर भी कब्जा जमाए हुए हैं, लेकिन मिडलवेट उनका नेचुरल भार वर्ग है, जिसमें वो बहुत ही प्रभावशाली हो जाते हैं।
आइए उन कारणों पर नजर डालते हैं, जो सिंगापुर इंडोर स्टेडियम में वापसी कर रहे चैंपियन को बहुत ही खतरनाक बनाते हैं।
#1 वो अपराजित हैं
एक मार्शल आर्टिस्ट के लिए अपराजित रिकॉर्ड के साथ-साथ दो खिताब पर कब्जा करना दिखाता है कि वो कितने महान हैं।
डी रिडर का प्रोफेशनल MMA रिकॉर्ड 15-0 का है और इस दौरान उन्होंने कई बड़े दिग्गजों को मात दी है।
डच सुपरस्टार ने म्यांमार के आइकॉन आंग ला न संग को दो बार मात देकर मिडलवेट और लाइट हेवीवेट वर्ल्ड चैंपियनशिप जीती हैं। इसके अलावा उन्होंने मिडलवेट बेल्ट को ONE वेल्टरवेट वर्ल्ड चैंपियन कियामरियन अबासोव के खिलाफ डिफेंड किया है।
ये सब उनके शानदार कारनामों की गवाही देते हैं और जब भी 31 वर्षीय दिग्गज सर्कल में उतरते होंगे तो उन्हें अपनी महानता का अहसास होता होगा।
#2 उनके टेकडाउंस को रोकना बहुत ही मुश्किल है
डी रिडर ने अपनी मार्शल आर्ट्स यात्रा की शुरुआत जूडो के साथ की थी, जिसमें उन्होंने ब्लैक बेल्ट हासिल करने के साथ-साथ स्थानीय स्तर पर कामयाबी हासिल की।
उन्होंने फिर अपने जखीरे में ब्राजीलियन जिउ-जित्सु (BJJ) को जोड़ा और MMA में कदम रखा। उन्होंने जूडो स्किल्स और रेसलिंग तकनीकों को साथ लाकर अपने खेल को निखारा।
“द डच नाइट” ट्रिप्स और स्वीप्स के जरिए सिंगल और डबल लेग टेकडाउन पर अपने प्रतिद्वंदियों को आसानी के साथ मैट पर गिरा देते हैं।
अभी तक उन्होंने ऐसे विरोधी का सामना नहीं किया है, जो कि उनके टेकडाउंस को रोक पाया हो। आंग ला न संग के साथ हुए पिछले मुकाबले के पांच राउंड्स में उन्होंने 12 कोशिशों में 12 बार टेकडाउन हासिल करने में सफलता पाई थी।
#3 उनकी सबमिशन स्किल्स कमाल की हैं
एक बार डी रिडर अपने विरोधी को कैनवास पर लाए तो फिर उनकी खैर नहीं।
“द डच नाइट” ने 15 प्रतिद्वंदियों में से 10 को सबमिशन के जरिए हराया है, जिसमें से सात के खिलाफ ये जीत पहले राउंड में ही आई हैं। इससे साफ होता है कि वो कितनी जल्दी अपने काम को अंजाम दे देते हैं।
BJJ ब्लैक बेल्ट होल्डर को चोक लगाना बहुत पसंद हैं और वो अपनी शानदार ग्रैपलिंग का इस्तेमाल करते हुए प्रभावी पोजिशन में आकर जीत की दहलीज तक पहुंच जाते हैं।
माउंट पोजिशन, साइड कंट्रोल या बैक कंट्रोल, Combat Brothers टीम के प्रतिनिधि के पास अटैक करने के ढेर सारे विकल्प रहते हैं और रीयर-नेकेड चोक और आर्म ट्रायंगल उनका पसंदीदा है।
#4 उनकी शारीरिक क्षमता का जवाब नहीं!
डी रिडर को अपनी स्किल्स की मदद से जीत मिलती है, लेकिन उसमें काफी बड़ा योगदान उनकी शारीरिक क्षमता का है।
वो 6 फुट 4 इंच की लंबाई के कारण हेवीवेट डिविजन के सबसे लंबे एथलीट हैं और उन्हें अपनी लंबाई का अच्छे तरीके से इस्तेमाल करना आता है।
डच सुपरस्टार अपनी ताकत का इस्तेमाल कर टेकडाउन लगाते हैं और शरीर बड़ा होने के चलते उनके विरोधियों का मैट पर गिरने के बाद उठना मुश्किल हो जाता है।
“द डच नाइट” के लंबे हाथ-पैर उन्हें स्ट्राइकिंग में भी मदद करते हैं, लेकिन जब प्रतिद्वंदी मैट पर गिरे हुए हों तो उन्हें इसके कारण चोक लगाने और विरोधियों को नियंत्रित करने में भी मदद मिलती है।
#5 वो सर्वश्रेष्ठ एथलीट्स के साथ ट्रेनिंग करते हैं
कुछ एथलीट्स होते हैं, जो शिखर पर पहुंचकर सोचते हैं कि उनके पास कामयाबी हासिल करने का हर तरीका मौजूद है, लेकिन दो-डिविजन के चैंपियन लगातार अपने खेल में सुधार कर उसे पहले से ज्यादा विकसित करने पर ध्यान देते हैं।
MMA दिग्गज जेगार्ड मुसासी डच सुपरस्टार के ट्रेनिंग पार्टनर हैं और इसके अलावा डी रिडर विदेशी दौरे पर जाकर अपनी ट्रेनिंग को नए आयाम पर ले जाने का काम करते हैं।
हाल ही में “द डच नाइट” ने अमेरिका के फ्लोरिडा स्थित Sanford MMA का दौरा किया था, जहां उन्होंने पुराने प्रतिद्वंदी आंग ला न संग के साथ ट्रेनिंग की थी।
इसके अलावा उन्होंने American Top Team में 17 बार के BJJ वर्ल्ड चैंपियन मार्कस “बुशेशा” अल्मेडा के साथ भी मैट पर समय बिताया और उसके बाद टेक्सस जाकर महान कोच जॉन डैनेहर से ग्रैपलिंग के गुर सीखे।
लगातार सीखते रहने की इच्छा के कारण “द डच नाइट” अपने गेम को और भी अधिक बेहतर बना लेंगे, जो कि उनके विरोधियों के लिए खतरे की घंटी है।