फीमेल मार्शल आर्टिस्ट्स के लिए प्रेरणा का स्रोत बनना चाहती हैं इत्सुकी हिराटा
इत्सुकी “एंड्रॉइड 18” हिराटा को उम्मीद है कि वो कॉम्बैट स्पोर्ट्स की बड़ी स्टार बनकर अगली जेनरेशन की फीमेल मार्शल आर्ट्स को प्रोत्साहित कर सकती हैं।
अपराजित जापानी फाइटर खुद को एक टॉप कंटेंडर और फैन फेवरेट के रूप में स्थापित कर चुकी हैं, ONE में लगातार 3 जीत दर्ज कर चुकी हैं और शुक्रवार, 3 सितंबर को ONE: EMPOWER में अलीस “लिल सैवेज” एंडरसन को हराकर अपने करियर को नए मुकाम पर पहुंचा सकती हैं।
ONE विमेंस एटमवेट वर्ल्ड ग्रां प्री के क्वार्टरफाइनल राउंड में “एंड्रॉइड 18” को अमेरिकी एथलीट का सामना करना होगा और उन्हें उम्मीद है कि ये उनके शानदार सफर की शुरुआत मात्र होगी।
हिराटा ने कहा, “मैं चाहती हूं कि मेन इवेंट में फीमेल एथलीट्स को जगह मिले। मैं एशिया समेत पूरी दुनिया में केवल विमेंस पर आधारित इवेंट्स को होते देखना चाहती हूं।”
“पुरुष एथलीट्स महिला फाइटर्स की बाउट्स को देखते होंगे और हमारे प्रदर्शन की सराहना भी करते होंगे।”
ONE निरंतर फीमेल स्टार्स को बढ़ावा देता आया है और प्रोमोशन के कई बड़े इवेंट्स को विमेंस हेडलाइन कर चुकी हैं। अब कार्ड में केवल फीमेल फाइटर्स शामिल हैं, जिससे हिराटा बहुत खुश हैं।
उन्होंने कहा, “मैं इस इवेंट को लेकर बहुत उत्साहित हूं। हमें पुरुष और महिलाओं के बीच अंतर नहीं करना चाहिए और मैं नहीं मानती कि काबिलियत के मामले में मेल और फीमेल एथलीट्स में ज्यादा अंतर होता है।”
जहां तक प्रेरणा मिलने की बात है, “एंड्रॉइड 18” कई मार्शल आर्टिस्ट्स का धन्यवाद करना चाहेंगी, जिन्होंने ONE: EMPOWER के होने में अहम भूमिका निभाई है। लेकिन K-Clann टीम की स्टार को अपने बहुत करीबी से अच्छा करने की प्रेरणा मिली है।
उन्होंने कहा, “मेरी मां मेरे लिए सबसे बड़ा प्रेरणा का स्रोत हैं। वो फाइट नहीं करतीं लेकिन उनका पास होना मुझे मजबूती प्रदान करता है। मेरे हिसाब से हर परिवार ऐसा होता है।”
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ये अब हिराटा के छाने का समय है और ONE के जरिए वो युवा लड़कियों को ग्लोबल स्टेज पर आने के लिए प्रोत्साहित कर सकती हैं।
इस सफर में उन्हें कई बार फीमेल और मेल एथलीट्स के बीच अंतर का अहसास हुआ है, लेकिन उन्होंने ये भी सीखा है कि मेल और फीमेल एथलीट्स के बीच खड़ी दीवार को तोड़ा भी जा सकता है।
जापानी एथलीट ने कहा, “मैं बहुत छोटी उम्र से जूडो कर रही हूं और जब मैं प्राथमिक शिक्षा ले रही थी तब मैच लिंग के आधार पर तय किए जाते थे।”
“ऐसा कहा जाता था कि लड़के, लड़कियों से ताकतवर होते हैं, इसलिए लड़कियों को कम आंका जाता था। मैं सबको अपनी काबिलियत के अनुसार आगे बढ़ते देखना चाहती हूं। लड़कियां भी ताकतवर होती हैं और उम्मीद करती हूं कि अपने मैचों के जरिए मैं उन्हें जीवन में आगे बढ़ने के लिए प्रेरित कर पाऊंगी।”
हिराटा का रिकॉर्ड 7-0 का है और ग्रां प्री जीतकर ONE विमेंस एटमवेट वर्ल्ड चैंपियन “अनस्टॉपेबल” एंजेला ली के खिलाफ मैच की उम्मीद कर रही हैं।
यहां से वो ONE वर्ल्ड चैंपियन बनने वाली अपने देश की पहली फीमेल एथलीट बन सकती हैं। ये उनके लिए ऐतिहासिक लम्हा होगा, लेकिन “एंड्रॉइड 18” जानती हैं कि दूसरों की मदद के कारण ही वो इस मुकाम पर पहुंच पाई हैं।
वो अपनी सफलता का श्रेय दूसरों को दे रही हैं, जिन्होंने उन्हें अपने सपनों को पूरा करने में मदद की है और अब वो दूसरों को प्रेरित करना चाहती हैं।
हिराटा ने कहा, “अगर मैं जापान की पहली विमेंस वर्ल्ड चैंपियन बनी तो ये मेरी अकेले ही नहीं बल्कि पूरे जापान की जीत होगी।”
“मैं जापान के सभी लोगों का धन्यवाद करना चाहती हूं क्योंकि लड़कियों को ऐसा वातावरण मिल रहा है, जहां से वो अपने सपनों को पूरा कर सकती हैं।”
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