क्रेग कोकली की डबलिन की गलियों से लेकर ONE Championship तक पहुंचने की कठिन यात्रा – ‘संघर्ष किरदार बनाता है’

Suablack Tor Pran49 Craig Coakley ONE Friday Fights 46 23 scaled

क्रेग “कोको” कोकली का जीवन शायद किसी ओर ही दिशा में जाता, लेकिन परिवार और महत्वाकांक्षा ने उन्हें गलियों के रास्ते से दूर किया।

जहां उनके कुछ जान-पहचान के लोग जेल गए या फिर उनकी मौत हो गई, वहीं 31 वर्षीय स्टार शनिवार, 3 अगस्त को ONE Fight Night 24: Brooks vs. Balart में मुकाबला करने के लिए तैयारी कर रहे हैं।

हालांकि, कोकली को अपने प्रमोशनल डेब्यू मैच में मनचाहा नतीजा नहीं मिला, लेकिन वो अब थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक के लुम्पिनी स्टेडियम में रैम्बोलैक चोर अजालाबून पर जीत दर्ज करना चाहेंगे।

आइए उनकी दूसरी फाइट से पहले “कोको” द्वारा दुनिया के सबसे बड़े मार्शल आर्ट्स संगठन में आने के सफर के बारे में जानते हैं।

बड़े भाई ने दिखाई सही राह

कोकली का पालन-पोषण आयरलैंड की राजधानी डबलिन के उत्तरी इलाके में हुआ।

पिता की अनुपस्थिति में उनकी मां को अपने बेटों की परवरिश के लिए खूब मेहनत करनी पड़ती थी।

कोकली ने onefc.com को बताया: 

“मैं फ्लैट्स में पला-बढ़ा। वो सही इलाका नहीं था, जिसके कुछ अच्छे हिस्से थे। मेरी परवरिश जहां हुई, वो मुझे पसंद था। जो मैं आज हूं, इसने मेरी मदद की। संघर्ष किरदार बनाता है और संघर्ष से कामयाबी मिलती है।

“मेरी मां ने मुझे और मेरे भाई को अच्छा जीवन देने के लिए जमकर मेहनत की। मेरे पिता क्राइम और ड्रग्स की चपेट में थे और जब मैं छोटा था तो वो जेल में बंद थे तो मेरे पास उनकी खास यादें नहीं हैं।”

कोकली ने कभी अलग तरह की परवरिश की कल्पना नहीं की क्योंकि उनका मानना है कि मुश्किल हालातों ने उनके जीवन में अहम योगदान दिया है।

उन्होंने बताया:

“हमारा जीवन साधारण था। जब हम पले-बढ़े वहां बहुत ड्रग्स, गैंग और हिंसा थी, लेकिन मैं कभी इसमें शामिल नहीं हुआ।

“मेरे बड़े भाई ली काफी अच्छे हैं, उन्होंने बुरे लोगों से दूर रहने में मदद की। जब भी मैंने इन गतिविधियों के नजदीक भी जाता तो वो मुझे सिर पर थप्पड़ मारते थे।”

MMA से मिला रास्ता 

कोकली तीन भाइयों में बीच के हैं। उनके बड़े भाई ली पूर्व फाइटर हैं, वहीं छोटे भाई सेनान MMA में मुकाबले करते हैं। ली की वजह से ही “कोको” को अच्छी दिशा मिली।

कोकली ने समझाया: 

“जब मैं 15 साल का था, तब मैं किसी भी गलत रास्ते पर जा सकता था, लेकिन मेरे भाई ने मेरा परिचय MMA और मार्शल आर्ट्स से करवाया। उन्होंने मुझसे कहा कि मुझे कुछ करने की जरूरत है। उन दिनों में कहीं खोया हुआ सा था।

“मैं उन लोगों को देख रहा था, जिनके पास बहुत पैसा था और हमारे पास कुछ नहीं था। आप इलाके के पैसे वाले ड्रग डीलरों को देखते हो। लेकिन मेरे समझदार भाई ने मुझे सही दिशा में रखा।”

अब एक बेहतरीन मॉय थाई फाइटर बन चुके कोकली का ध्यान सबसे पहले MMA और BJJ (ब्राजीलियन जिउ-जित्सु) ने खींचा था।

उन्होंने कहा:

“MMA मेरा पहला प्यार था। मैंने करीब डेढ़ साल जिउ-जित्सु किया। मैं हमेशा फाइट करना चाहता था और मेरे कोच कहते थे कि तुम्हारी ग्रैपलिंग अच्छी है, लेकिन स्ट्राइकिंग पर काम करने की जरूरत है। मैंने बचपन में बॉक्सिंग की थी, लेकिन किक करना नहीं जानता था। मुझे सही स्ट्राइकिंग सीखने की जरूरत थी।

“एक दिन मैं और मेरा दोस्त जिम के पास से गुजर रहे थे तो हमें पैड पर ग्लव्स के पड़ने और फाइटर्स की आवाज सुनने को मिली। हमने देखा तो पाया कि वो मॉय थाई है। मैं वहां गया और तुरंत इससे प्यार हो गया।”

मॉय थाई में आगे बढ़े

कोकली के MMA कोच ने उन्हें सुझाव दिया कि मैच लड़ने से पहले अपनी स्किल्स में सुधार करो। युवा स्टार ने मॉय थाई जिम को प्रभावित किया और सबकी नजरों में आए।

उन्होंने अपने नए शौक के बारे में बताया:

“जिम को जॉइन करने के तीन महीने बाद मुझसे पूछा गया कि क्या मैं फाइट करना चाहता हूं। तब मैं 18 साल का था। मैंने तुरंत हां कह दिया। पांच महीनों की ट्रेनिंग के बाद मुझे फाइट मिली और मुझे इससे प्यार हो गया। फिर मैंने अपना सारा ध्यान मॉय थाई पर लगा दिया।”

भले ही कोकली की दिलचस्पी कभी पढ़ाई-लिखाई में नहीं रही, लेकिन वो एक लोकल यूथ प्रोजेक्ट के जरिए कॉलेज गए।

मगर जब उन्होंने रिंग की रस्सियों में कदम रखे तो वो तभी समझ गए थे कि उनका ध्यान किताबों से ज्यादा इसमें है।

फिर उन्होंने प्रोफेशनल फाइटर बनने का मन बना लिया था:

“अपने कॉलेज के पहले साल में मैंने फाइटिंग को गंभीरता से लेना शुरु कर दिया था। मुझे मॉय थाई में अच्छे मौके मिलने लगे और फिर मैंने कॉलेज बीच में छोड़ दिया। जब मैं 18 साल का था तो पहली बार किसी टाइटल के लिए इंग्लैंड में फाइट की। तब मैंने तय किया कि मुझे जीवन में क्या करना है।”

ग्लोबल स्टेज पर छा जाने का सपना

कोकली के लिए मॉय थाई का सपना आसान नहीं रहा है क्योंकि आयरलैंड में फाइट के लिए काफी कम पैसा मिलता था।

हालांकि, Dublin Combat Academy के प्रतिनिधि अपने लक्ष्य पर बने रहे और मौके उनके लिए बनने लगे। अप्रैल 2023 में Road to ONE टूर्नामेंट जीतने के बाद उन्हें दिसंबर में हुए ONE Friday Fights 46 जैसे हाई-प्रोफाइल इवेंट में भाग लेने का मौका मिला।

“कोको” को वहां थाई स्टार सुआब्लैक टोर प्रान49 के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा। लेकिन उनका मानना है कि वो डिविजन के बाकी फाइटर्स के बराबर के हैं और ये साबित करने के लिए तैयार हैं:

“मैं सच में मानता हूं कि मेरी स्किल्स दुनिया में सर्वश्रेष्ठ में से एक हैं। मैं पिछली फाइट में इसे सही से दिखा नहीं पाया। इससे मुझे बुरा लगा। अब मेरे पास बदला लेने का मौका है।”

कोकली को ना सिर्फ अपनी स्किल्स पर भरोसा है बल्कि उन्हें अपने परिवार के चलते भी अच्छा करने की ताकत मिल रही है।

उन्होंने कहा:

“कुछ महीने पहले मेरी गर्लफ्रेंड ने अपनी जॉब छोड़ी ताकि मैं अपनी ट्रेनिंग पर पूरा टाइम दे पाऊं। ये मुझे बहुत प्रेरित कर रहा है। बहुत सारे लोग दबाव में बिखर जाते हैं, लेकिन ये मुझे प्रेरित करता है।

“मुझे बहुत मेहनत करने की जरूरत है। मुझे ये अपने और उनके लिए जीतना ही है। दबाव से ही हीरे बनते हैं।”

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