टिफनी टियो ने लंबे समय बाद वापसी और शानदार जीत के बारे में बात की
टिफनी ”नो चिल” टियो भले ही पिछले एक साल से ज्यादा समय से सर्कल से दूर रही हों लेकिन उन्होंने शानदार जीत के साथ वापसी की है। उन्होंने ठीक वहीं से शुरुआत की है, जहां से पिछली बार छोड़ा था। इस बार उनके हाथों अयाका मियूरा को ONE Championship में पहली हार का मुंह देखना पड़ा है।
सिंगापुर की स्टार भले ही ONE: KING OF THE JUNGLE के पहले राउंड में विरोधी की सबमिशन की कोशिश में लगभग टैप करने की स्थिति में पहुंच गई थीं लेकिन वो इससे बच निकलीं और धमाकेदार वापसी की। बिल्कुल ऐसा ही उनके साथ मिशेल निकोलिनी की बाउट में भी हुआ था।
टियो की डिफेंसिव ग्रैपलिंग इस बार बेहतरीन नजर आई। उन्होंने मैच में तकनीकी नॉकआउट (TKO) से आखिरी सेकेंड्स में जीत हासिल कर ली। इस बाउट में उनके द्वारा लगाई गई ग्राउंड एंड पाउंड अटैक की झड़ी का जवाब जापानी विरोधी के पास बिल्कुल भी नहीं था।
इस जीत के साथ ”नो चिल” ने द पांडा” जिओंग जिंग नान से ONE विमेंस स्ट्रॉवेट वर्ल्ड टाइटल के लिए सामना करने का दूसरा मौका हासिल किया है। इसके इस साल के अंत तक होने की संभावना है।
अब जब उन्हें अपनी जीत का जश्न मनाने का मौका मिला है तो “द लॉयन सिटी” की 30 वर्षीय एथलीट ने बताया कि एक्शन में वापस आकर उन्हें कैसा लग रहा है। मैच के दौरान उनके दिमाग में क्या चल रहा था।
ONE Championship: आपको सर्कल में वापसी करके कैसा महसूस हो रहा है?
टिफनी टियो: वहां दर्शक तो नहीं थे लेकिन मैच के लिए केज तक आते समय मेरी फीलिंग्स और इमोशंस काफी कुछ पहले की तरह और वैसे ही थे।
गैप काफी लंबी रहा इसलिए इस बार अपनापन थोड़ा कम महसूस हुआ। मैं तो भूल ही गई थी कि वॉकआउट करने पर कैसा लगता है और उस समय बहुत सारी भावनाएं उमड़ रही थीं।
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ONE: जब आपने सर्कल में कदम रखा तो क्या सब चीजें अपनी जगह पर वापस आ गई थीं?
टिफनी टियो: हां, बैकस्टेज पर एंट्रेंस से पहले जब मैं अपने कोच और ट्रेनर के साथ वॉर्मअप कर रही थी, तो मानसिक तौर पर मैं सही जगह पर आ चुकी थी। जैसे ही मैंने सर्कल में कदम रखा, वैसे ही मैं बाउट के लिए पूरी तरह तैयार हो गई थी।
ONE: मियूरा ने पहले राउंड में आपको टाइट आर्म ट्रायंगल चोक में जकड़ लिया था, उस समय आपकी रणनीति क्या थी और आपके दिमाग में क्या चल रहा था?
टिफनी टियो: पहले राउंड में मेरा गेम प्लान विरोधी से दूरी बनाए रखने का था। मैं बस उन्हें स्ट्राइक करना चाहती थी। उन्हें अपने करीब नहीं आने देना चाहती थी लेकिन उनसे दूरी बनाए रखने की मेरी रणनीति काम नहीं आई।
इसलिए मैंने उन्हें अपने करीब आने दिया और तब ही उन्हें मुझे जकड़ने का मौका मिल गया। वो आक्रमण करने के लिए पूरी तरह से तैयार थीं इसलिए उन्होंने मुझे जकड़े रखा क्योंकि वो जानती थीं कि जीतने का केवल यही एक तरीका है। ये तरीका मुझे उनके पिछले मैचों में भी देखने को मिला था। उन्होंने जब मुझे ग्रांउड पर गिरा लिया, तो मैं बस शांत हो गई थी।
ONE: क्या आपको लगता कि उनका आत्मविश्वास टूट गया, जब पहले राउंड के अंत में आप फिर से उठ खड़ी हुई थीं?
टिफनी टियो: सच कहूं तो पहले राउंड के बाद मैंने अपने आप से कहा कि मैं और अच्छे तरीके से बाउट कर सकती हूं। दरअसल, चीजें बद से बदतर हो गई थीं और मैच के दौरान अक्सर ऐसी स्थिति में हम नहीं जाना चाहते हैं। इस तरह पहला राउंड खत्म हुआ।
मेरे कॉर्नरमैन मुझे अपने कॉर्नर में आने की कोशिश करने के लिए कह रहे थे। उन्होंने कहा था कि हर मैच में आप हमारे साथ ऐसा क्यों करती हैं। उस वक्त क्योंकि मैं अपने आपको बुरी स्थिति में डाल चुकी थी और उससे बाहर भी आ गई थी। साथ ही मेरी विरोधी को पता था कि मैच खत्म करने का केवल यही तरीका है, जो कि वो नहीं कर पाई थीं। इन चीजों को देखकर मुझे लगता है कि इन्होंने मेरे विरोधी के आत्मविश्वास को बड़ा आघात पहुंचाया था।
ONE: दूसरे राउंड में आपने क्लिंच का इस्तेमाल करके उन्हें कुछ नुकसान पहुंचाया था। क्या आप इस बात से हैरान थीं कि उन्होंने हार नहीं मानी?
टिफनी टियो: मुझे लगता है कि अगर वो टेकडाउन करना चाह रही थीं तो वो उनके लिए अच्छी स्थिति नहीं थी। मुझे लगता है कि उस समय वो केवल यही कर सकती थीं। मेरी विरोधी जानती थीं कि ये कैसे करना है और ये उनका अकेला टेकडाउन था, जिसको उन्होंने मजबूती से थामे रखा था।
ONE: आपको किस समय ये महसूस हुआ की अब चीजें आपके फेवर में आ चुकी हैं?
टिफनी टियो: दूसरे राउंड के बाद मुझे लगा कि मैंने सही दूरी बना ली थी। उस समय मेरे पास डिफेंस के दूसरे तरीके थे, जिससे मैं टेकडाउन के समय अपना बचाव करने के साथ विरोधी को नुकसान भी पहुंचा रही थी।
दूसरे राउंड में मुझे बैलेंस और मोमेंटम दोनों मिल गए। मुझे पता चल गया था कि अब मेरा समय आ चुका है, जिसका मुझे फायदा उठाना होगा। पहले राउंड में खराब स्थिति से हुए नुकसान की भरपाई करने के साथ मुझे विरोधी को नुकसान पहुंचाना था। मैं जानती थी कि अगर ये मैच जीतना है तो दूसरे और तीसरे राउंड को भुनाना होगा।
ONE: क्या आपको लगता है कि जब दूसरे राउंड में वो थक गईं थी तो मैच जल्दी खत्म हो सकता था?
टिफनी टियो: हां, मुझे ऐसा लगा था। साथ ही किक और पंच लगाते वक्त मैं थोड़ा हिचकिचा भी रही थी क्योंकि उस वक्त मैं किक और स्ट्राइक्स लगाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध दिख रही थी और तभी वो टेकडाउन हुआ था।
ONE: दूसरे राउंड के खत्म होने पर जब आपकी विरोधी ग्राउंड एंड पाउंड से बच निकलीं, तो क्या आपको हैरानी हुई थी?
टिफनी टियो: वो बहुत टफ एथलीट हैं। उनको काफी सारे क्लीन शॉट लगे। उनके सिर और बॉडी पर एल्बो और नी के जबरदस्त प्रहार हुए और उन्होंने सब सहे लेकिन तब भी हार नहीं मानी। वो मैच में टिकी रहीं और बेहतर पोजिशन में आने के रास्ते तलाशती रहीं।
ONE: जब तीसरे राउंड में आप भी उस पोजिशन में आईं और तकनीकी नॉकआउट किया तो आपको क्या क्या अंतर नजर आया?
टिफनी टियो: मुझे लगता है कि जब वो उस तरीके से सेम स्पॉट में काफी देर तक रहीं और अपनी पोजिशन अच्छी करने के लिए कुछ नहीं कर पाईं, तब रेफरी को उनकी सुरक्षा और उन्हें खतरे से बाहर निकालने के बारे में सोचना पड़ा था।
ONE: जब मैच खत्म हो गया और आप कैनवस पर जीत के साथ वापसी कर चुकी थीं, तब आपको कैसा महसूस हो रहा था, इस बारे में कुछ बताइए?
टिफनी टियो: जब रेफरी ने मैच खत्म किया तो उस समय मैं काफी राहत की सांस ले रही थी। जैसा कि मैंने पहले बताया था कि वापसी बहुत शानदार रही। सर्कल में काफी पुराने जज्बात वापस आए।
लंबे गैप के बाद वापस आना और अपने सपने को फिर से पाकर बहुत अच्छा महसूस हो रहा था। कई सारी भावनाएं उमड़ रही थीं।
ONE: मैच के बाद अपनी पर्पल बेल्ट पाकर भी कैसा महसूस हो रहा है?
टिफनी टियो: इसके पीछे एक मजेदार कहानी है। एक परंपरा है कि जब आपका प्रोमोशन होता है, तो आपको अपने टीम के साथियों से कोड़े खाने होते हैं। कई सारे जिम ये मान्यता के तौर पर करते हैं, लेकिन मैंने प्रोमोशन के लिए ऐसा करने से मना कर दिया था। मैं नहीं चाहती कि मुझे कोड़े मारे जाएं (हंसते हुए)।
मैं इस बात पर जोर देती रही हूं कि इसका कोई मतलब नहीं है कि कड़ी मेहतन मैं करूं और लोगों से मुझे कोड़े खाने पड़ें। इसलिए मेरे कोच को मुझे प्रोमोट करने के लिए काफी मेहनत करनी पड़ी। उनके पास बिना कोड़े मारे मुझे प्रोमोट करने के अलावा और कोई चारा भी नहीं था। मैं उनसे कहती रहती हूं कि मुझे प्रोमोशन देने का अगर यही तरीका है तो मैं कोड़े नहीं खाऊंगी।
ONE: ONE विमेंस स्ट्रॉवेट वर्ल्ड टाइटल के लिए नंबर 1 कंटेंडर बनकर कैसा लग रहा है?
टिफनी टियो: मैंने इस बारे में केवल फाइट वीक तक ही सुना था क्योंकि मेरा ध्यान सामने आने वाली चीजों पर ही था, जिसमें मेरा मैच सबसे मजबूत प्रतिद्वंदी अयाका मियूरा से होना था।
मुझे पता था कि इस मैच का नतीजा मायने रखता है लेकिन मैं किसी निष्कर्ष पर नहीं पहुंचना चाहती थी। बाउट के बाद लोगों ने मुझसे पूछा था कि मुझे “द पांडा” के बारे में क्या लगता है। ये मिक्स्ड मार्शल आर्ट्स करियर में मेरी अकेली हार थी इसलिए रीमैच होने पर मुझे अच्छा लगेगा। अगर ऐसा होगा तो देखा जाएगा। मैं इसके लिए कोई दबाव नहीं डाल रही हूं। अगर उन्हें लगता है कि मुझे एक और जीत की जरूरत है, तो मैं तैयार हूं।
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